Acquisition Meaning in Hindi – अधिग्रहण क्या है?

Neha Arya
7 Min Read
Acquisition Meaning in Hindi
Acquisition Meaning in Hindi

Acquisition Meaning in Hindi: किसी भी कंपनी, एसेट या प्रॉपर्टी को acquire (खरीदने) करने की प्रक्रिया को Acquisition कहते हैं। Acquisition का अर्थ होता है ‘अधिग्रहण‘ इसका मतलब है किसी कंपनी पर कंट्रोल अपने हाथ में लेना. जब भी कोई कंपनी किसी अन्य कंपनी को खरीदती है तो उसने अधिग्रहण कहा जाता है।

आज के समय में कम्पनिया अपने profit को बढ़ाने के लिए दूसरी कंपनियों को खरीदती है, इस पूरी प्रक्रिया को Acquisition कहा जाता है। आज हम जानेंगे की Acquisition kya hai, एक्विजिशन कितने प्रकार का होता है, इसके फायदे और नुकसान क्या है इसके साथ ही इस से सबंधित बातों के बारे में चर्चा करेंगे।

Acquisition Meaning in Hindi

एक्विजिशन शब्द का शाब्दिक अर्थ होता है अधिग्रहण करना, मतलब किसी कंपनी को खरीदना या फिर उसकी बड़ी हिस्सेदारी को अपने नाम करने की प्रक्रिया को अधिग्रहण (Acquisition) कहते हैं।

जब भी किसी कंपनी का Acquisition अधिग्रहण करते है तो कंपनी का पूरा कण्ट्रोल खरीदने वाले के पास आ जाता है। इसके लिए एक कंपनी दूसरी कंपनी के शेयर को खरीदती है, इसके साथ यदि कंपनी शेयर मार्किट में लिस्ट है तो उसके सबसे ज्यादा share खरीद लेती है।

बहुत सारी कंपनियां ऐसा करती हैं, जब उन्हें लगता है कि किसी कंपनी से उनके बिजनेस को नुकसान है तो वह उसे acquire कर लेती हैं. जिस से कंपनी पर नियंत्रण कर सकें और अपने बिज़नेस के अनुसार कंपनी का इस्तेमाल करके मुनाफा कमा सके।

अधिग्रहण क्या है? What is Acquisition in Hindi

Acquisition का मतलब एक कंपनी, एसेट या प्रॉपर्टी को अपने कंट्रोल में लेने के लिए उसकी आधे से ज्यादा हिस्सेदारी को अपने नाम करना या फिर कंपनी में सबसे ज्यादा शेयर का मालिक बन जाना होता है। इस तरह से कंपनी को ख़रीद कर अपने कंट्रोल में करना, या किसी कंपनी में कंट्रोलिंग शेयर ख़रीद कर उसे अपने कंट्रोल में करना भी हो सकता है।

अधिग्रहण करने से कंपनी को आसानी से Customer Base, Technology, Expertise और कंपनी के resources मिल जाते है। किसी भी कंपनी का विस्तार करने के लिए यह करना बहुत जरुरी होता है। ये प्रोसेस कंपनी की लॉन्ग टर्म growth और success के लिए बहुत जरूरी होता है।

अधिग्रहण के प्रकार – Types of Acquisition in Hindi

Acquisition (अधिग्रहण) दो प्रकार के होते हैं; Horizontal Acquisition और Vertical Acquisition. जब कंपनी अपने ही सेक्टर की किसी कंपनी को खरीदती है तो उसे Horizontal Acquisition कहते हैं। इसके साथ जब इंडस्ट्री की सप्लाई चैन में योगदान देने वाली कंपनियों को खरीदनी है तो उसे Vertical Acquisition कहा जाता है।

कुछ अन्य प्रकार के महत्वपूर्ण अधिकरण के बारे में भी आपको जानना चाहिए जैसे

  • Asset Acquisition
  • Stock Acquisition
  • Merger
  • Consolidation
  • Leveraged Buyout
  • Management Buyout
  • Reverse Merger
  • Tender Offer
  • Friendly Acquisition
  • Hostile Acquisition

Cost of Acquisition Meaning in Hindi

Cost of Acquisition का हिंदी अर्थ है अधिग्रहण की लागत. इसको शार्ट फॉर्म में COA भी कहा जाता है. यह ग्राहक या एसेट को हासिल करने के लिए गए गए सभी खर्चो के बारे में जानकारी प्रदान करता है। इसमें प्रोडक्ट की मार्केटिंग, सेल्स कमीशन और दूसरे सभी मार्केटिंग खर्चो को शामिल किया जाता है।

किसी भी बिज़नेस के लिए Cost of customer acquisition बहुत जरुरी है, जिसके जरिये पता चलता है कि कस्टमर को हासिल करने के लिए कितने खर्च होते हैं। इस तरह से बिज़नेस को उसके कस्टमर acquire करने की strategy को optimize करने में काफी मदद मिलती है।

अधिग्रहण के फायदे (Advantages of Acquisition in Hindi)

बाजार विस्तार : अधिग्रहण करके एक कंपनी को दूसरी कंपनी में बाजार हिस्सेदारी और revenue बढ़ाने में मदद मिलती है. ये एक बहुत ही आसान तरीका है जिसके जरिये कंपनियों को बाज़ार में विस्तार करने में मदद मिलती है।

नई तकनीक तक पहुंच : अधिग्रहण करने से कंपनियों को दूसरी कंपनी के technology और intellectual property का मैलकना हक़ मिल जाता है. इस तरह से कम्पनिया अपने प्रोडक्ट्स और सुवेरीके को सुधारने में आसानी होती है।

Acquisition के फायदे और नुकसान

बाजार विस्तार: किसी कंपनी का अधिग्रहण करके दूसरी कंपनी के कस्टमर बेस, बाजार हिस्सेदारी और revenue बढ़ाने में मदद मिलती है। यह एक सरल और आसान तरीका है जिस से कंपनी को बाजार में विस्तार करने में मदद मिलती है।

लागत बचत: अधिग्रहण से कंपनियों को economies of scale के साथ लागत बचत मिलती है। कंपनी को Aquire करके आसानी से रिसोर्सेज, टेक्नोलॉजी को प्राप्त कर सकते है।

बढ़ी हुई बाजार हिस्सेदारी: अधिग्रहण करने से कंपनियों को दूसरी कंपनी के बाजार में हिस्सेदारी भी मिल जाती है. इस तरह से कॉम्पिटिशन कम हो जाता है और profit बढ़ने लगता है। इस तरह से कंपनियों को अपने बाजार हिस्सेदारी में सुधार करने के लिए मदद मिलती है।

Acquision एक तरह की बिजनेस स्ट्रैटेजी है जिसमें एक कंपनी दूसरी कंपनी या बिजनेस को खरीद कर उसके एसेट्स, कस्टमर बेस, और टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर सकती है. इस से कंपनी को ग्रोथ मिलती है और साथ ही कंपनी का शेयर प्राइस भी बढ़ने लगता है।

हालाँकि किसी भी कंपनी का अधिग्रहण करने से पहले विभिन्न पहलुओं को समझना जरुरी होता है ड्यू डिलिजेंस, फंडिंग सोर्सेज और ब्रांडिंग आदि। इसके साथ कंपनियों को कानूनी और वित्तीय पहलुओं पर विचार करना होता है।

निष्कर्ष

लेख में हमने What is Acquisition in Hindi या अधिग्रहण क्या होता है, इसके बारे में जाना है। अगर आप शेयर बाजार से जुडी जानकारी सर्च करते है तो Acquisition शब्द जरूर सुना होगा। अगर आप बिजनेसमैन है तो इसके बारे में विस्तार से पता होना आवश्यक है।

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